पंजाब हरियाणा के शंभू और खनौरी बॉर्डर पर चल रहे किसान आंदोलन को पिछले दिनों सरकार ने खत्म करा दिया. पुलिस ने बुलडोजर की मदद से सड़क पर लगे टेंट और बाकी सामान को भी हटा दिया है, इसके साथ ही कई किसानों को हिरासत में लिया था, जिनको रिहा करने को लेकर किसानों और पुलिस के बीच काफी नोकझोंक देखने को मिली थी. इस बीच किसानों के जेल में होने और उनके रिहा होने को लेकर पंजाब पुलिस के आईजी सुखचैन सिंह गिल ने जानकारी दी है.

आईजी सुखचैन सिंह गिल ने बताया कि 19 मार्च से अब तक करीब 1400 किसानों को हिरासत में लिया गया था. इनमें से 800 किसानों को रिहा कर दिया गया है. इसके अलावा पंजाब के सीएम ने फैसला किया है कि महिलाओं, दिव्यांगों, मेडिकल समस्याओं वाले किसानों और 60 साल से अधिक उम्र के किसानों को तुरंत रिहा किया जाएगा. यही कारण है क आज करीब 400 किसानों को रिहा किया जाएगा.

इस नंबर पर मिलेगी किसानों को जानकारी

आई जी ने बताया कि इसके अलावा हमने एक नोडल अधिकारी जसबीर सिंह बनाया है, जो पटियाला में तैनात एसपी स्तर के अधिकारी हैं. कोई भी किसान जिसे अपने सामान को लेकर किसी भी तरह की शिकायत है, वह उनसे संपर्क कर सकता है और उनकी समस्या का तुरंत समाधान किया जाएगा. किसी का कोई भी सामान हो उसकी हर जानकारी दी जाएगी. परेशान नहीं होना है आपको केवल फोन करना है, किसान किसी भी समय 9071300002 इस नंबर पर संपर्क कर सकते हैं.

पहले किसान नेताओं को हिरासत में लिया, फिर कराए बॉर्डर खाली

पुलिस ने पूरी प्लानिंग के साथ यह किसानों का आंदोलन खत्म कराया था. जगजीत सिंह डल्लेवाल, सरवन सिंह पंधेर, काका सिंह कोटड़ा, अभिमन्यु कोहाड़, मनजीत सिंह राय, सुखजीत सिंह हरदोई झंडे समेत सभी बड़े किसान नेता बुधवार सुबह से चंडीगढ़ में केंद्र के साथ बैठक के लिए गए थे. पुलिस ने पहले बैठक से बॉर्डरों की तरफ वापस जाते किसान नेताओं को हिरासत में लिया. इसके बाद बॉर्डर पर कार्रवाई शुरु कर दी. पुलिस ने दोनों बॉर्डरों पर कार्रवाई करते हुए किसानों को बसों में बिठा लिया गया. इसके बाद पुलिस ने मंच से लेकर किसानों द्वारा बनाए अस्थायी घरों व अन्य निर्माणों को बॉर्डर से हटा दिया. इसी तरह की कार्रवाई शंभू बॉर्डर पर की गई.